21 अक्टूबर 2024 के राशिफल
दिनांक- 20/10/2024
श्री गणेशाय नम:
आज के पंचांग
कार्तिक कृष्ण पक्ष
तिथि- पंचमी
रात के 02 बजके 29 मिनट ले,
ओकरा बाद षष्ठी।
दिन- सोमार।
रोहिणी नक्षत्र
सबेरे के 06 बजके 50 मिनट ले,
ओकरा बाद म्रृगशीर्षा नक्षत्र।
वरीयान जोग
दिन के 11 बजके 11 मिनट ले,
ओकरा बाद परिघ जोग।
कौलव करण।
काल्ह के पंचांग
दिनांक- 22/10/2024
कार्तिक कृष्ण पक्ष
तिथि- षष्ठी
रात के 01 बजके 29 मिनट ले।
दिन- मंगर।
आद्रा नक्षत्र
सबेरे के 05 बजके 38 मिनट ले।
परिघ जोग
दिन के 08 बजके 46 मिनट ले।
गर करण।
आज के राशिफल
मेष | Aries
(जेकर नाम चू, चे, चो, ला, ली, लू,ले,लो,अ से सुरू होला)
जतरा आ देशाटन के स्तिथि सुखद आ उत्साह बढ़ावे आला होई। संतान के बेवहार से चिंता हो सकेला। संबंधित अधिकारी के सहजोग रही।
वृष | Taurus
(जेकर नाम से इ,उ,ए, ओ,वा ,वी ,वू ,वे,वो से सुरू होला)
मिथुन | Gemini
(जेकर नाम का,की,कु,घ,ड़,छ, के, को,हा से सुरू होला)
कर्क | Cancer
(जेकर नाम ही,हू,हो,डा, डी, डू,डे,डो से सुरू होला)
सिंह | Leo
(जेकर नाम मा,मी,मू,मे,मो,टा,टी, टू,टे से सुरू होला)
पारिवारिक जिनगी सुख से भरल रही। आर्थिक ममिला में सुधार होई। संतान भा जीवनसाथी से मतभेद हो सकेला।
कन्या | Virgo
(जेकर नाम टो,पा,पी,पू,ष,ण,ठ,पे,पो से सुरू होला)
रचना के काम में सफलता मिली। बेवसायिक कोसिस सफल होई। उपहार भा सम्मान में बढ़न्ती होई।
तुला | Libra
(जेकर नाम रा,री,रु,रे,रो,ता,ती,तू,ते से सुरू होला)
स्वास्थ के लेके सचेत रहला के जरूरत बा। धन खरच होई। मन खिन्न रही। चल भा अचल संपत्ति में बढ़न्ती होई।
वृश्चिक | Scorpio
(जेकर नाम तो,ना, नी,नू,ने,नो,या,यी,यूं से सुरू होला)
धनु | Sagittarius
(जेकर नाम ये,यो,भा, भी,भू,ध,फ,ढ भे से सुरू होला)
संतान भा शिक्षा के कारण चिंतित रहेम। बेवसायिक ममिला आगा बढ़ी। सामाजिक प्रतिष्ठा बढ़ी। आर्थिक ममिला में सुधार होई।
मकर | Capricorn
(जेकर नाम भो,जा, जी,खी,खू,खे,खो,गा,गी से सुरू होला)
रचना के काम सफल होई। शासन सत्ता के सहजोग रही। जीविका के क्षेत्र में बढ़न्ती होई। सामाजिक प्रतिष्ठा बढ़ी।
कुंभ | Aquarius
(जेकर नाम गू, गे,गो,सा,सी,सू, से,सो,दा से सुरू होला)
बेवसायिक कोसिस सफल होई। जीवन साथी के सहजोग आ सानिध्य मिली। रचना के प्रयास सार्थक रही।
मीन | Pisces
(जेकर नाम दी,दू,थ,झ,ञ ,दे,दो,चा,ची से सुरू होला)
बेकार के उलझन रही। भाई-बहिन के सहजोग रही। जीवनसाथी के सहजोग रही। उपहार भा सम्मान में बढ़न्ती होई।