For the best experience, open
https://m.khabarbhojpuri.com
on your mobile browser.
Advertisement

वोट दिहला के बाद अंगुरी प लागल स्याही जल्दी काहे ना छुटेला ? जानी का कारण बा

02:22 PM May 04, 2024 IST | Raj Nandani
वोट दिहला के बाद अंगुरी प लागल स्याही जल्दी काहे ना  छुटेला    जानी का कारण बा
Advertisement

पिछला 62 साल से हर चुनाव का दौरान एह स्याही के इस्तेमाल हो रहल बा । जदी हमनी के एह स्याही के दाम के बात करीं स त एक बोतल स्याही के दाम लगभग 127 रुपया बा आ एक बोतल में लगभग 10 मिलीलीटर स्याही होखेला। एक लीटर चुनावी स्याही के भाव 12,700 रुपया बा।

Advertisement

भारत में इ स्याही के निर्माण सिर्फ एगो कंपनी मैसूर पेंट्स एंड वार्निश लिमिटेड के ओर से करेले। शुरू में एह स्याही के इस्तेमाल लोकसभा आ विधानसभा चुनाव के दौरान ही होखत रहे, बाकी बाद में नगर निकाय आ सहकारी संस्था के चुनाव में भी एकर इस्तेमाल होखे लागल।

एह नील रंग के स्याही के इस्तेमाल 1962 के चुनाव के संगे होखे लागल। भारत के पहिला चुनाव आयुक्त सुकुमार सेन एह स्याही के चुनाव में शामिल करे के सुझाव देले रहले। एह से एक बेर लगावे के बाद आसानी से गायब ना हो जाला।

इ स्याही कम से कम 72 घंटा तक अँगुरी से ना निकलेला। एकरा अलावे जब पानी के संपर्क में आवेला त करिया हो जाला आ बहुत दिन तक चलेला।

Tags :
Advertisement