Karwa Chauth 2023: आजु सुहागिन मेहरारू रखिहें करवा चउथ के निर्जला व्रत, पूजा खातिर मिली एतना समय, जानी कब बा चंद्रोदय
आज यानी 1 नवम्बर 2023 के अटूट सौभाग्य खातिर बियाहल महिला करवा चउथ के व्रत करीहें। हर साल कार्तिक महीना के कृष्ण पक्ष के चतुर्थी तिथि के करवा चौथ व्रत मनावल जाला। आज के दिन बियाहल मेहरारू ना तs एको दाना खाना लेवेली ना एक बूंद पानी पीएली। करवा चउथ के व्रत बिना पानी के मनावल जाला। एह दिन भगवान शिव, माई पार्वती, कार्तिकेय, करवा माता आ चंद्रमा के पूजा करे के परंपरा बा। करवा चउथ के दिन महिला चंद्रमा के अर्घ्य देके पति के हाथ से पानी पी के व्रत तोड़ेली। एह दिन पति के चलनी से देखे के परंपरा भी बा। साथही बता दीं कि करवा चउथ में सर्गी देबे के भी खास महत्व होला। सरगी सास पतोह के देली।
शुभ योग
एह साल के करवा चउथ बहुते खास बा। असल में करवा चउथ पर एक ना तीन गो संयोजन हो रहल बा। आज शिव, परिघ आ सर्वाथ योग बा। शिव योग आज दुपहरिया 2:07 बजे तक चली, जबकि परिघ योग सबेरे से दुपहरिया 2:07 बजे तक चली। जबकि आज सबेरे 6.33 बजे से सर्वाथ योग शुरू हो रहल बा, जवन अगिला दिन सबेरे 4.36 बजे तक चलत रही।
करवा चउथ के पूजा खातिर शुभ समय
करवा चउथ व्रत के पूजा शुभ समय आ विधि से कइल जाला। अगर रउआ पहिला बेर करवा चउथ के व्रत कs रहल बानी तs शुभ समय में ही करवा चउथ के पूजा करीं। त, हम बता दीं कि एह साल रउरा करवा चउथ के पूजा खातिर मात्र लगभग 1 घंटा 18 मिनट के समय मिली। करवा चउथ के शुभ समय आजु साँझ 5.36 बजे से शुरू हो रहल बा आ साँझ करीब 7.02 बजे समाप्त होखी।
करवा चउथ 2023 के चाँद उदय के समय
करवा चउथ के पूजा चंद्रमा के बिना देखले अधूरा मानल जाला। जब तक चाँद ना लउकी तब तक व्रती मेहरारू एक बूंद भी पानी ना पी सकेली। चंद्रमा के उगला के बाद उपवास करे वाली महिला चंद्रमा के पूजा करेली अवुरी अर्घ्य के अर्पित कईला के बाद चलनी से अपना पति के चेहरा देखेली। पति के चलनी से चाँद के देखला के बाद ही देखल जाला। एकरा बाद महिला अपना पति के हाथ से पानी पी के आपन व्रत तुड़ेले। आज करवा चउथ के चाँद निकलले के समय रात 8:15 बजे बतावल जाता।
करवा चउथ पूजा विधि
*करवा चउथ के दिन नहा के साफ कपड़ा पहिन के (काला,
भूरा आ सफेद रंग के कपड़ा बिल्कुल ना पहिनी)।
*एकरा बाद करवा माता के पूजा करे के संकल्प ले के
उपवास करीं, दिन भर निर्जल व्रत करीं।
* शुभ समय से पहिले 16 मेकअप करके तैयार हो जाइ।
* माटी के करवा पs रोली से स्वस्तिक बनाइ।
*एकरा बाद करवा माता के तस्वीर अवुरी शिव परिवार के
मूर्ति चाहे फोटो के कवनो फोटो स्थापित क ली।
*एकरा बाद ओह लोग के सामने पानी से भरल कलश रख के
ओकरा ऊपर राखल ढक्कन में चीनी के बोरा भर दीं।
*फिर गंगा जल, धूप-दीप, नैवेद्य,अक्षत, रोली, फूल, पंचामृत
आदि जइसन चीज चढ़ावे के चाहीं।
*करवा माता आ माँ पार्वती के शादी के सामान चढ़ाई।
* करवा माता के चित्र पs सुहाग चीज (जइसे
बिंदी,आलता,सिंदूर, मेहंदी आदि) लगाईं।
* करवा चउथ व्रत के कहानी जरूर पढ़ीं, फिर जब चंद्रमा
उगता तs चंद्रमा के अर्घ्य चढ़ाईं।
* एकरा बाद अपना पति के हाथ से पानी पी के करवा चउथ
के व्रत तुड़ी ।